अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर नारी शक्ति सम्मान समारोह का आयोजन

ईश्वर ने महिला को सृजन और पालन-पोषण करने की शक्ति दी हैः डॉ. गीता खन्ना

देहरादून । इंस्टीट्यशन ऑफ इंजीनिसर्य ऑडिटोरियम में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर ‘विकसित भारत के संकल्प में महिलाओं की भूमिका‘ विषय पर एक गोष्ठी एवं छठवें हिमालयी नारी शक्ति सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। समारोह का आयोजन दिव्य हिमगिरि, इंस्टीट्यूशन ऑफ इंजीनियर्स (इंडिया) तथा इंटरनेशनल गुडविल सोसायटी ऑफ इंडिया के संयुक्त तत्वावधान में किया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कार्यक्रम की मुख्य अतिथि एवं राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्षा डॉ. गीता खन्ना ने अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि महिलाएं प्रकृति का इस दुनिया को विशिष्ट उपहार है। उन्होंने कहा कि लडकी की शादी और दूसरे परिवार में जाने के पीछे सबसे बड़ा कारण है कि ईश्वर ने महिला को सृजन और पालन-पोषण करने की शक्ति दी है। मुख्य वक्ता एवं फिक्की फ्लो की अध्यक्षा डॉ. अनुराधा मल्ला ने कहा कि आज के वर्तमान दौर में महिलाओं को संयुक्त परिवारों की तरफ कदम बढ़ाना चाहिए। यदि हम अपने बच्चों को संयुक्त परिवार के सुखद अनुभव का अहसास नहीं कराएंगे तो आने वाली पीढ़ी भी आपको उस सुखद अनुभव से दूर कर देगी। विशिष्ट अतिथि एवं उत्तराखंड लोकसेवा आयोग के पूर्व अध्यक्ष ने अपने संबोधन में कहा कि द्वितीय विश्व युद्ध में पूरी तरह से नेस्तानाबूद हो चुके जर्मनी में 1968 में महिलाओं ने एक आंदोलन चलाया और देश में अपनी भागीदारी सुनिश्चित की जिससे जर्मन आज एक विकसित भारत बना। कार्यक्रम की अध्यतक्षता करते हुए इंस्टीट्यूशन ऑफ इंजीनियर्स (उत्तराखंड चैप्टर) के चैयरमेन ई. एन.के. यादव ने कहा कि महिलाओं का सम्मान केवल आज ही के दिन नहीं बल्कि प्रत्येक दिन होना चाहिए। कार्यक्रम को सीआईएमएस कॉलेज के चैयरमेन ललित जोशी ने भी संबोधित करते हुए कहा कि आज समाज की सबसे बड़ी समस्या नशा है। हमें मिलकर इस बुराई से लड़ना और नशामुक्त उत्तराखंड बनाना है। इससे पूर्व अतिथियों का स्वागत इंटरनेशनल गुडविल सोसायटी के उपाध्यक्ष डॉ. अजय सक्सेना व रामराज द्विवेदी एवं सचिव कुंवर राज अस्थाना ने किया। कार्यक्रम का संचालन प्रो. नवीन सिंघल ने किया। अन्य विशिष्ट अतिथियों में प्रो. (डा.) अनिता रावत, डॉ. दिव्या असवाल गुप्ता, ई. डीसी अरोरा, ई. सतीश चैहान, ई. एसएन सक्सेना, ई. एचके उप्रेती, ई. योगेश वर्मा, ई. सतीश चंद्र, ई. रमाशंकर, ई. प्रशान्त अग्रवाल, मोनिका डबराल, बीना सती आदि प्रमुख व्यक्ति एवं सीएमआई नर्सिंग कॉलेज की नर्सिंग की छात्राएं उपस्थित थी।
सम्मानित होने वाली महिलाओं में मंजूलिका माथुर (शिक्षा के क्षेत्र में), बबीता शाह लोहनी (संस्कृति के प्रसार के क्षेत्र में), बलबीर नौटियाल (समाज सेवा के क्षेत्र में), गीता मौर्य (महिला स्टार्ट अप के लिए), दिव्या सोनी (शिक्षा के क्षेत्र में), नूपुर अग्रवाल (महिला स्टार्ट अप के लिए), डॉ जेनिफर ए कुमार (शिक्षा के क्षेत्र में), मीना नेगी (पत्रकारिता के क्षेत्र में), डॉक्टर इंदु मोंगिया (चिकित्सा सेवा के क्षेत्र में), रंजना रावत (समाज सेवा के क्षेत्र में)
सोनिया गुलाटी (शिक्षा के क्षेत्र में), दिव्या बंसल (महिला स्टार्ट अप के लिए), शिवानी कोटनाला (स्पेशल शिक्षा के क्षेत्र में), डॉक्टर शीलू सिंह भाटिया (शिक्षा के क्षेत्र में), पुष्पा कुमारी (महिला स्टार्ट अप के लिए), मिस नीतू सेठी (शिक्षा के क्षेत्र में), नीलिमा गर्ग (प्रशासनिक सेवा के क्षेत्र में),
प्रतिभा खत्री (शिक्षा के क्षेत्र में), सोनिका रावत (समाज सेवा के क्षेत्र में), प्रो. (डॉ) रेनू सक्सेना (शिक्षा के क्षेत्र में), पूनम कुमारी (महिला स्टार्ट अप के लिए), बेला सहगल (शिक्षा के क्षेत्र में), नीता मित्तल (वैज्ञानिक सेवा के क्षेत्र में), हेमेश्वरी शर्मा (प्रशासनिक सेवा के क्षेत्र में), प्रो. ज्योत्सना सक्सेना (शिक्षा के क्षेत्र में) शामिल हैं।