अंकिता भण्डारी हत्याकाण्ड में दिपिका पाण्डेय ने मोदी सरकार पर लगाई आरोपों की झड़ी
देहरादून। उत्तराखंड कांग्रेस के द्वारा राज्य के हर एक जिले में प्रधानमंत्री मोदी के रुद्रपुर दौरे को लेकर प्रेस वार्ता आयोजित की गई। इसी कड़ी में उत्तराखंड कांग्रेस के मुख्यालय राजीव भवन में उत्तराखंड कांग्रेस की सह प्रभारी झारखंड विधानसभा के महगमा से विधायक दीपिका पांडे ने प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस प्रधानमंत्री मोदी सरकार के क्रिया कलापों को जनता के बीच उजागर करेगी। लम्बे समय से आम जनता सरकार की तानाशाही रवैये को झेल रही है , अब वक्त आ गया है कि जनता अपना सही निर्णय लेकर सरकार को मुंह तोड़ जवाब दे।
उन्होंने कहा कि उत्तराखंड एक ऐसा राज्य है जो हाल के वर्षों में भयंकर बेरोजगारी, अभूतपूर्व पलायन, ध्वस्त होते इंफ्रास्ट्रक्चर और कानून व्यवस्था के बिगड़ते हालात के कारण त्रस्त रहा है। भाजपा सरकार उत्तराखंड की सबसे बड़ी चुनौतियों – बेरोजगारी और पलायन का समाधान करने में पूरी तरह से नाकाम रही है। 2021 में, एक रिपोर्ट से पता चला कि पिछले 10 वर्षों में 5 लाख लोग राज्य से बाहर चले गए हैं – और पलायन करने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है। 2020 का छैव् डेटा चिंताजनक रूप से बेरोजगारी की उच्च दर को दिखाता है। इसमें उत्तराखंड के शहरी क्षेत्रों के लगभग एक तिहाई युवा बेरोजगार हैं। भाजपा को इन चुनौतियों से निपटने के लिए काम करना चाहिए था लेकिन उत्तराखंड सरकार इस मामले में बिल्कुल संवेदनहीन रही है। 2022 में पेपर लीक घोटाले में एक भाजपा नेता को गिरफ्तार किया गया। इसने 1.6 लाख उम्मीदवारों की आशाओं और उम्मीदों पर पानी फेर दिया है। जब युवा प्रदर्शनकारी पेपर लीक की सीबीआई जांच की मांग को लेकर देहरादून में सड़कों पर उतरे, तो भाजपा सरकार ने उन पर लाठीचार्ज करवाने का शर्मनाक काम किया। इसी तरह अग्निपथ योजना ने उत्तराखंड के युवाओं के लिए अच्छी नौकरी की एक और संभावना को ख़त्म कर दिया है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास को अपनी सरकार की एक प्रमुख उपलब्धि बताते हैं। उत्तराखंड के मामले में यह पूरी तरह से गलत है। यह राज्य हाल के वर्षों में बेतरतीब, गैर-जिम्मेदाराना और भ्रष्ट बुनियादी ढांचे के विकास के कारण कई आपदाएं देखने को मजबूर हुआ है। जोशीमठ जनवरी 2023 में तेजी से ष्धंसनाष् शुरू हो गया था। जमीन में बड़ी-बड़ी दरारें दिखाई देने से एक हफ्ते से भी कम समय पहले, वहां के निवासियों के एक प्रतिनिधिमंडल ने भाजपा के मुख्यमंत्री के समक्ष इस मुद्दे को उठाने की कोशिश की थी। लेकिन उन्होंने उनकी आशंकाओं को निराधार बताकर ख़ारिज कर दिया था। यह कई पहाड़ी शहरों में से एक है जो ख़तरे में है क्योंकि सरकार ने बिल्डरों को ठेका देने की जल्दी में अपने ही विशेषज्ञों की सलाह और चेतावनियों को नजरअंदाज कर दिया है। सिल्कयारा सुरंग, जहां दो सप्ताह से अधिक समय तक 41 श्रमिक फंसे रहे, के ढहने को लेकर आई एक ताजा रिपोर्ट से पता चलता है कि कान्ट्रेक्टर सुरक्षा सावधानियों के बजाय प्रोजेक्ट को जल्दी पूरा करने को प्राथमिकता दे रहा था। बाहर निकालने के मार्गों, अलार्म प्रणाली और रियल टाइम निगरानी जैसे सुरक्षा के बुनियादी उपायों की उपेक्षा की गई। संयोग से, जिस फर्म ने सुरंग का कॉन्ट्रैक्ट जीता था, उसने 2019 से भाजपा को 55 करोड़ रुपए दिए – और भाजपा राष्ट्रीय राजमार्ग अवसंरचना विकास निगम के माध्यम से कांट्रेक्टर को वफादारी के साथ बचाती रही। प्रोजेक्ट की खामियों को बताने वाले और आलोचना करने वाले सभी रिपोर्ट्स को खारिज कर दिया गया। भाजपा सरकार उत्तराखंड में इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास किसके लिए कर रही है – कांट्रेक्टर्स के लिए या लोगों के लिए? भूस्खलन और भूकंपीय आपदाओं से ग्रस्त क्षेत्र में, भाजपा सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए क्या कर रही है कि सुरक्षा दिशानिर्देशों का उल्लंघन न हो, और जनता का पैसा बर्बाद न हो?
दीपिका पांडे ने कहा कि यह अत्यंत अफसोस की बात है कि मोदी पूरे देश में घूम-घूम कर हर जनसभा में सिर्फ अपने मन की बात जनता पर थोपने का काम करते हैं परंतु 2014 में देश की जनता से किए गए अपने वादों पर एक शब्द भी बोलने के लिए तैयार नहीं है।
इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष संगठन मथुरा दत्त जोशी,महामंत्री विजय सारस्वत, मीडिया कॉडिनेटर राजीव महर्षि, महामंत्री नवीन जोशी, गोदावरी थापली, महानगर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर सिंह गोगी आदि उपस्थित थे।