कई अस्मरणीय यादे छोड़ गये कैप्टन खड़ताले …..

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दिल्ली। महापुरुष कभी नहीं मरा करते , अक्सर उनका जिक्र व उनके द्वारा किये गये कार्य सदैव अस्मरणीय होते है। ऐसे महापुरुष
हमेशा अमर हो जाते है।
अभी कुछ दिनों पूर्व इस महान हस्ती को हमने सदा के लिए खो दिया।

महापुरषों के अच्छे विचारों से हमें प्रेरणा मिलती है जो जीवन को एक नई दिशा प्रदान करती है। यह हमारे जीवन को सरल, समृद्ध और सफल बनाती हैं।
हमें सभी के साथ समानता का व्यवहार करना चाहिये लेकिन स्वयं के साथ सख्ती बरतनी चाहिए। ऐसे थे विचार महान व्यक्तित्व के स्वामी कैप्टन खड़ताले जी के जिहोने नवयुवकों का सदैव हौसला बढ़ाया । वह नये प्रशिक्षु पायलटो और अनेक युवाओ को जो आखिल भारतीय प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रहे होते थे , उन्हे अच्छी सलाह व उनका मार्गदर्शन किया करते थे।
कैप्टन खड़ताले इंडियन एयरलाइन मे महा प्रबंधक -ओपरेशन व क्षेत्रीय निदेशक दिल्ली व मुंबई मे कार्यरत रह चुके हैं। अनेको नई एयरलाइंस के पायलट उनसे कॅरिअर के बारे में सलाह लिया करते थे और वह किसी को भी निराश नही करते थे,वह उन्हे नये नये गुर दिया करते थे.

कैप्टन खड़ताले महात्मा बुद्ध, और डॉ बी आर अम्बेडकर के सिद्धांतों को मानते थे। वह सच्चे अर्थो मे समाजसेवी थे। उनका जीवन समाज के वंचित,शोषित वर्ग और अन्य सभी वर्गो को समर्पित था. इनका जन्म नासिक में 1933 में हुआ था.
कैप्टन खड़ताले ने अपना केरियर ट्रैफ़िक कंट्रोलर के रूप में शुरू किया था. उन्होंने कलिंग एयर लाइन और बाद में इंडियन एयरलायंस मे पायलट के रूप में कार्य किया.
जिस वक्त डॉ बाबा साहब अम्बेडकर के शव को मुंबई मे अंतिम संस्कार के लिये ले जा रहे थे उस समय उन्होंने विमान से फूल बरसा कर अपनी श्रधांजलि महान आत्मा को दी थी। इस तरह की श्रधांजलि देने वाले वह भारत के प्रथम पायलट थे। उनकी मृत्यु अभी हाल ही मे 15 अप्रैल 2023 को हुई थी। वह अपनी तीन लड़कियों और दो लड़को को पीछे छोड़ गये है।

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