सरकारी अध्यापक निभाएगे ‘‘पोषण दूत” की भूमिका – सीडीओ
देहरादून। आज पोषण माह के तहत मुख्य विकास अधिकारी सुश्री झरना कमठान की अध्यक्षता में अंतर विभागीय बैठक का आयोजन किया गया। जिसमें उन्होंने जनपद के चिन्हित कुपोषित और अतिकुपोषित बच्चों को स्वेच्छा से स्वास्थ्य विभाग और शिक्षा विभाग के साथ समन्वय कर, पोषण दूतों के माध्यम से आगामी 6 माह में सामान्य श्रेणी में लाने हेतु, तीनों विभागों को निदेर्शित किया गया।
उन्होंने स्वास्थ्य विभाग और शिक्षा विभाग के कर्मचारियों को स्वेच्छा से ‘‘पोषण दूत‘‘ बनकर, इस नवीन पहल से जुड़कर एक बच्चे को कुपोषण मुक्त करने के इस अभियान से जुड़ने के लिए आवाहन किया गया।
मुख्य विकास अधिकारी ने अभियान से जुड़ने वाले प्रत्येक कार्मिक को किसी भी दबाव न आने को कहा, बल्कि अपनी स्वेच्छा से अभियान में जुड़ने की अपील की गई है। ताकि आप सभी के सहभागिता से हम एक-एक बच्चे को कुपोषण मुक्त कर सकते है।
कहा कि इस अभियान के तहत अतिकुपोषित बच्चों को बाल रोग विशेषज्ञ व डाक्टर एवं कुपोषित बच्चों को प्राइमरी स्कूल के अध्यापकों द्वारा सामान्य श्रेणी में लाने हेतु प्रयास किये जाएगें। जिसकी समय-समय पर मानीटरिंग बाल विकास विभाग द्वारा की जायेगी। उन्होंने कहा कि कुपोषित और अतिकुपोषित बच्चों को सामान्य श्रेणी में लाने वाले पोषण दूतों को ब्लाक, जिले एवं राज्य स्तर पर सम्मानित किया जायेगा।
बाल विकास विभाग द्वारा चिन्हित कुपोषित एवं अतिकुपोषित बच्चों की सूची शिक्षा विभाग और स्वास्थ्य विभाग को भेज दी गई है। साथ ही पोषण माह में बाल विकास विभाग को प्रतिदिन कार्यक्रम आयोजित करने हेतु निर्देशित किया गया। जिसके लिए विभाग द्वारा साप्ताहिक कार्यक्रम की रूपरेखा तैयार की गई।
बैठक में उप चिकित्साधिकारी डा0 यू0एस0 चौहान, जिला कार्यक्रम अधिकारी डा0 अखिलेश कुमार मिश्र, जिला कार्यक्रम अधिकारी (माध्यमिक) राजेन्द्र रावत, जिला प्रोबेशन अधिकारी मीना बिष्ट व समस्त परियोजनाओं के बाल विकास परियोजना अधिकारी उपस्थित थे।
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